नैनीताल। मुख्य चिकित्सा अधिकारी नैनीताल डॉ. एचसी पंत के निर्देश पर कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसर के लिए जिला अस्पताल बीडी पांडे नैनीताल में नवजात शिशु सुरक्षित कार्यक्रम के तहत दो दिवसीय प्रक्षिक्षण कार्यकम का शुभारंभ बुधवार को किया गया। जिसमे मास्टर ट्रेनर अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी एनएचएम डॉ़ संजीव खर्कवाल व बाल रोग विशेषज्ञ डॉ़ आरएस मेर ने कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसर को जटिल प्रसव प्रबंधन पर विस्तार पूर्वक जानकारी दी। बताया कि जटिल प्रसव प्रबंधन में गर्भावस्था की निगरानी, प्रसव के दौरान संभावित समस्याओं की पहचान और उसके अनुसार प्रबंधन जिसमें उचित देखभाल और समय पर हस्तक्षेप शामिल होते हैं। प्रसव पूर्व देखभाल से जोखिमों का पता लगाने में मदद मिलती है। जैसे कि समय से पहले झिल्ली का फटना या गर्भावस्था में अन्य जटिलताएं, जिनका प्रबंधन आवश्यक है। यदि प्रसव में विलंब हो तो डॉक्टर सिजेरियन सेक्शन जैसे विकल्पों पर विचार कर सकते हैं या कुछ मामलों में वैक्यूम निष्कर्षण का उपयोग कर सकते हैं। इसमें नियमित जांच, अल्ट्रासाउंड और हृदय गति की निगरानी शामिल है। इससे शिशु के विकास पर नजर रखी जाती है और संभावित समस्याओं का जल्दी पता लगाया जाता है। उन्होंने कहा कि जिन मामलों में उच्च जोखिम होता है वहां अतिरिक्त देखभाल प्रदान की जाती है। कभी-कभी महिलाओं को बिस्तर पर आराम करने की आवश्यकता हो सकती है।
डॉ़ खर्कवाल ने कहा कि यदि प्रसव सामान्य से धीमा है तो उपचार के लिए सिजेरियन सेक्शन या वैक्यूम निष्कर्षण जैसे विकल्पों का उपयोग किया जा सकता है। बशर्ते कि गर्भाशय ग्रीवा पूरी तरह से फैली हो।
इस दौरान पीएसएस डॉ़ तरुण कुमार टम्टा, जिला कार्यक्रम प्रबंधक मदन मेहरा, बीएस कड़ाकोटी, दीवान बिष्ट, हेम जलाल, देवेंद्र बिष्ट आदि मौजूद रहे।
कम्युनिटी हेल्थ ऑफिसर्स को जटिल प्रसव प्रबंधन की दी जानकारी।